बृहस्पति का गोचरवश द्वादश भाव में फल -पं. ज्ञानेश्वर (भाग-2)
>> Saturday, September 25, 2010
बृहस्पति शुभ ग्रह है! यह विद्या, बुद्धि, ज्ञान, विवाह एवं धन अपना महत्वपूर्ण प्रभाव रखता है। आप चन्द्र राशि एवं लग्न से जिस भाव में गोचर का बृहस्पति हो उसका फल जानकर जन्म और लग्न से समन्वयात्मक फल ज्ञात करके जान सकते हैं कि गोचर का गुरु क्या फल देगा। सामान्यत: बृहस्पति कुण्डली में बाद के छह भावों में निम्न लिखित फल देता है-
कुंडली के सप्तम भाव में बृहस्पति का गोचरफल
अविवाहितों के लिए विवाह का योग, पारिवारिक सुख श्रेष्ठ, निस्संतान को सन्तान सुख, समाज में यश, मान-सम्मान बढ़ता है, बेरोजगार को रोजगार, नौकरी वालों की पदोन्नति एवं व्यापारियों को सफलता मिलती है, आर्थिक स्थिति सुद़ढ़ होती है, धनलाभ के नए अवसर के साथ-साथ व्यय भी बढ़ता है, परन्तु मन प्रसन्न रहता है।
कुंडली के अष्टम भाव में बृहस्पति का गोचरफल
शरीर स्वस्थ होते हुए भी मानसिक तनाव एवं बाधाओं से लड़ना होगा, क्रोध एवं चिड़चिड़ापन हावी रहेगा, शत्रु एवं विरोधी पक्ष शान्त रहने से कार्यक्षेत्र में सफलता मिलेगी, परिश्रम का पूर्णलाभ मिलेगा, सतत् प्रयास करते रहें, आर्थिक स्थिति सामान्य परन्ु अचानक धनलाभ हो सकता है, राज्य से लाभ या सहयोग मिलेगा और मनोकामना पूर्ण होगी।
कुंडली के नवम भाव में बृहस्पति का गोचरफल
शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य उत्तम, अत्यधिक सक्रिय रहने से रुके कार्य पूरे होंगे। धार्मिक कार्यों में आपकी अभिरूचि रहेगी. सामाजिक एवं परोपकार के कार्यों को करने में आपको खुशी महसूस होगी. कार्यक्षेत्र में नवीन योजनाएं बनेंगी जिनसे आपको भविष्य मे लाभ मिलेगा. इस गोचर में पदोन्नति हो सकती है अथवा विशेष जिम्मेवारियां मिल सकती हैं. आर्थिक दृष्टि से यह आपको काफी लाभ दिलाएगा, धनागमन होता रहेगा अत: मन प्रसन्न रहेगा. सामाजिक मान प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी.
कुंडली के दशम भाव में बृहस्पति का गोचरफल
व्यापार एवं कार्यक्षेत्र में सफलता और उन्नति देगा, राजनैतिक सम्बन्ध बनेंगे और उच्चाधिकारियों से पहचान व सहयोग मिलेगा, परिवार में सुख-शांति सक गृहस्थ जीवन सुखमय रहेगा, धन संबंधी चिंता दूर होगी और लाभ की स्थिति बनेगी, धनागमन होने से मन प्रसन्न रहेगा, मान-सम्मान बढ़ेगा, परिश्रम व लगन का फल मिलने से प्रसन्नता होगी, आराम का समय नहीं मिल पाएगा।
कुंडली के एकादश भाव में बृहस्पति का गोचरफल
आर्थिक स्थिति सद़ढ़, आय के नए नए अवसर व साधन बनने से धनलाभ होगा, व्यापार में सफलता, नौकरी में हैं तो स्थिति अच्छी रहेगी, पदोन्नति भी हो सकती है, कार्यभार के कारण अत्यधिक व्यस्त रहेंगे, समाज में प्रतिष्ठा एवं मान बढ़ेगा, मानसिक रूप से संतुष्ट रहेंगे।
कुंडली के द्वादश भाव में बृहस्पति का गोचरफल
शरीर व मन से सामान्य रहेंगे, समय-असमय बीमार रहेंगे, तनाव व व्याकुलता रहेगी, आर्थिक लाभ, मांगलिक कार्यों में व्यय होगा, सश्रम सफलता व मान-सम्मान पाएंगे, यात्रा करेंगे जोकि भविष्य के लिए लाभदयी रहेगी।
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