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मिलेगा तूझे तभी(लघुगीत तांका)

>> Friday, January 4, 2019



आज शुक्रवार है और प्रत्‍येक शुक्रवार को कहानी या कविता की चर्चा करते हैं। आज की वीडियो में लघु गीत तांका के अन्‍तर्गत हे 'मिलेगा तूझे तभी' शीर्षक के अन्‍तर्गत पांच तांका दे रहे हैं। तांका में ५,७,५,७,७ के क्रम में कुल इकतीस अक्ष्‍ार की पांच पक्तियों होती हैं। आपको यह लघुगीत तांका कैसा लगा कमन्‍ट बॉक्‍स में टिप्‍पणी देकर अवश्‍य बताएं। धन्‍यवाद।
मिलेगा तूझे तभी

दूजो से पाना 
नहीं कभी आसान
ये सत्‍य ज्ञान
मिलेगा तूझे तभी
देगा जब तू कभी

दूजों से चाहा  
जैसा तुमने कभी      
वैसा करो भी    
जब करोगे ऐसा   
मिलेगा मन जैसा        

कर के भला 
भूल जा करा हुआ
समय आएगा
किया काम आएगा
भला होता जाएगा

भाव हो सच्‍चा
रहेगा फिर अच्‍छा  
साथ मिलेगा 
हाथ में हाथ होगा
काम सब बनेगा 

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